भगवान बुद्ध अस्तित्व के मार्ग पर तलाश करते हुए, कभी-कभी प्रसन्न अवस्था में सुखमंगल} को पाते थे। उनका एक विशिष्ट स्थान, गिरिजन, था जहाँ वे विचार में डूबे रहते थे।
एक दिन/एक समय/एक घटना बुद्ध एकांत में झपकी लेने लगे, और उनकी नींद अनजान रूप से गहन हो गई। कुछ लोगों ने यह दृश्य/इस घटना/इस जानकारी को रहस्यमय माना और इसके पीछे छिपे रहस्य/इसकी गहराई/इसका अर्थ समझने की कोशिश करते थे।
- कुछ लोगों ने/कई लोगों ने/अनेक लोगों ने
- निष्कर्ष निकाला
- कि बुद्ध की नींद एक विशेषता थी/एक रहस्यमय घटना थी/एक जादुई क्षण था.
जैसा कि हम जानते हैं/जो हमें ज्ञात है/जैसे हमें समझ आता है
बुद्ध की शांत अवस्था में गहरी निद्रा
एक प्रज्ञा पूर्ण आत्मा, महात्मा बुद्ध। अपनी जिज्ञासाओं से मुक्त और अज्ञानता के जाल से परे रहते हुए उन्होंने व्यक्तिगत शांति को प्राप्त किया था। जहां ज्ञान का प्रकाश चमक रहा था वहीं उनके मन में शांत नींद की अवस्था थी। यह नींद एक साधारण विश्राम नहीं बल्कि विचारों से मुक्ति थी । उनके चेहरे पर सुख का प्रकाश झलक रहा था जो उनकी आंतरिक शांति का प्रतिबिंब था।
नींद के माध्यम से ज्ञान : बुद्ध का अनुभव
बुद्ध, अत्यंत प्रज्ञाशाली व्यक्ति, को उसकी जीवनयात्रा में सुखद सपने में निर्धारित किया गया था। इस अनुभव से वे अपने मार्ग पर ।
- वे समझ गए कि
- मन को शांत रखना चाहिए
- ज्ञान का मार्ग आसान नहीं होता है
प्रतिष्ठित साधना और बुद्ध की विश्राम अवस्था
समाधान, समाधि, मुक्ति प्राप्त करने के लिए बहुत से, अनेक, विभिन्न रास्ते हैं। परन्तु उन सभी में सर्वोच्च शांतिपूर्ण, निष्पक्ष, तर्कसंगत अवस्था बुद्ध की, महात्मा बुद्ध की, भगवान बुद्ध की विश्राम website अवस्था में स्थित है। यह विश्राम, समाधि, शून्यता केवल परिवर्तन के साथ, संयम से, साधना से प्राप्त होती है और मानसिक, भावनात्मक, आत्मिक स्तर पर पूर्णतः सुखदायक, पवित्र, पारदर्शी होती है।
- आराम की, शांति की, संतुष्टि की यह अवस्था हर किसी के लिए उपलब्ध, दुर्लभ, अत्यंत महत्वपूर्ण है और इसकी प्राप्ति से जीवन में नया दृष्टिकोण, उन्नति, सफलता आती है।
- बुद्ध, महात्मा बुद्ध, भगवान बुद्ध ने इस अवस्था को अनुभव किया, समझा, प्रमाणित और इसका मार्गदर्शन सभी मानवों को प्रदान किया है।
इसलिए, यह स्पष्ट है कि, यह सत्य है कि प्रतिष्ठित साधना का लक्ष्य बुद्ध की विश्राम अवस्था में, अंदर की शांति प्राप्त करना, जीवन के उद्देश्य को समझना है।
बुद्ध की नींद: धर्म की ओर एक नई दृष्टि
धर्म, जीवन में संतोष और आत्म-ज्ञान प्राप्त करने का मार्ग है। पवित्र बुद्ध ने अपनी नींद में धर्म की ओर एक नई दृष्टि प्रदान की। उसने देखा कि मानव जीवन का असली अर्थ, जो केवल संपत्ति और पद से नहीं प्राप्त हो सकता है। यह दर्शन हमें सिखाता है कि
- हमारे जीवन में धार्मिक मूल्यों को शामिल करना चाहिए
- दयालु बनने की आवश्यकता है
- सत्य, अहिंसा और त्याग हमारे जीवन का आधार होना चाहिए
तारतम्य में भी प्रबुद्ध बुद्ध
विद्या का महासागर, धर्म का प्रकाश - ऐसा ही है गौतम बुद्ध । उसका मन एक स्थिर तल पर रहा , जो समय के झंझटों से स्वतंत्र रहा । ध्यान में भी , बुद्ध का मन सचेतन रहता है , और इसी बल से वे जीवों को मुक्ति की ओर ले जाते हैं ।